बाबा शिवानन्दजी की दिव्य वाणी से होगा दुर्गासप्तसती पाठ
श्री दुर्गासप्तशती साधना 17 से
बैतूल। अवधूत बाबा शिवानन्दजी के आर्शीवाद, संकल्पशक्ति और दिव्यवाणी द्वारा श्री दुर्गासप्तशती अतिदुर्लभ बीज मंत्रात्मक साधना का आयोजन दिनांक 17 से 19 नवम्बर 2012 तक सुबह प्रतिदिन 9 से 12 बजे तक की जाएगी। यह कार्यक्रम राधाकृष्ण धर्मशाला बैतूल गंज में आयोजित किया जाएगा। आयोजन समिति के राजू अग्रवाल, मोहन अग्रवाल ने बताया कि शक्ति साधना में दुर्गा सप्तशती एक अत्यन्त दुर्लभ सारगर्भित ग्रन्थ है। पृथ्वी उर्जा के चरम स्तर पर है और समय है इस उर्जा को अनुभव करने का इससे जीवन सुखद सफल तथा अर्थपूर्ण बनाने का, शिवयोग के प्रणेता, मां भगवती के उपासक अवधूत बाबा शिवानन्द जी के अथक प्रयास, तप साधना से समाज के उद्धार महान उद्देश्य आज उस उर्जा को प्राप्त करने का मार्ग संभव बनाया है। दुर्गासप्तशती साधना का कठिन मार्ग लेकिन बाबाजी के प्रयास घर घर में हो रही है। बीज मंत्र अर्थात वर्णाक्षरों में पूरी दुर्गासप्तशती से प्राप्त होने वाले फल की चाबी है। श्री अग्रवाल ने बताया कि यह साधना शिविर तीन चरणों में विभाजित है जिसके प्रत्येक चरण में उपस्थित होने पर ही आपकी साधना संपूर्ण होगी। इसका विशेष ध्यान रखना व पूर्ण पालन करना अनिवार्य है, व परम कर्तव्य है। यह साधना एक सुर संगीत की मधुर स्वर लहरी पर इन बीज मंत्रों की साधना करते हुए स्वयं का और सम्पूर्ण विश्व का बाबाजी के माध्यम से उद्धार करेंगे। सभी लोग इस शिविर में नि:शुल्क भाग ले सकतें हैं। रजिस्ट्रेशन फार्म भरना अनिवार्य है।