जरूरते फकीरों की भी पूरी हो जाती है,ख्वाहिशे बादशाहों की भी अधूरी रह जाती है:पंडित शर्मा
अंहकार को छोडऩे का प्रयास ही भागवत उपदेश है:पंडित शर्मा
बैतूल । मानव जीवन मिला है यह पशुओं की तरह का ना हो, हम स्वार्थ से हटकर परहित भी करें, अपना पेट तो सभी भर लेते हैं , मानव बनकर आये है तो दया परोपकार भी करें और अहंकार को छोडऩे का प्रयास ही भागवत उपदेश है। उक्त उद्गार ग्राम भडूस में 8 मई से प्रारंभ संगीतमय श्रीमद भागवत ज्ञान यज्ञ के दौरान कथा वाचक देवांश भागवत सेवा समिति के अध्यक्ष पंडित सुखदेव शर्मा द्वारा व्यक्त किये गये। श्री शर्मा ने बताया कि जिन्दगी को जरूरत में रखो ख्वाहिश की तरफ मत ले जाओ क्योंकि जरूरत तो फकीरों की भी पूरी होती है ख्वाहिशें बादशाहों की भी अधुरी रह जाती है। आयोजक बंशीलाल पवांर ने बताया कि दोपहर 2 से 5 बजे तक प्रतिदिन कथाप्रवचन किये जाएगें। कथा में सहयोगी पंडित सचिन शर्मा छिंदवाड़ा, मनोज दवंडे, मुकेश साहू, पवन, महेश वर्मा होंगे। आयोजक बंशीलाल पवांर ने सभी से पधारकर पुण्यलाभ अर्जित करने की अपील की है।