पालीवाल बहुमुखी व्यक्तित्व के धनी :ज्योति शर्मा
उनकी लम्बी सेवा अवधि बेदाग रही:वर्मा
बैतूल । स्थानीय जेएच कॉलेज के लोकप्रिय पूर्व प्रभारी प्राचार्य एवं वाणिज्य संकाय के विभागाध्यक्ष प्रो जेपी पालीवाल का विदाई समारोह संपन्न हुआ। इस अवसर पर अतिथि प्राचार्य डॉ सुभाष लव्हाले,प्रो जयराम कोरी, प्रो शिवकुमार शुक्ला, डॉ प्रभाकर सप्तपुत्रे, द्वारा श्री पालिवाल को शाल, श्रीफल एवं स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मनित किया गया। इस अवसर अवसर पर प्राचार्य डॉ सुभाष लव्हाले ने कहा कि सेवा निवृत्ति के पहले अपने भावी जीवन की योजना बना लेना चाहिए। प्रो पालीवाल ने सेवानिवृत्ति के पूर्व अपने वाणिज्य विभाग के अनुभवों के आधार पर ऐसा कर लिया था। परीक्षा पढाई कॉपरेटिव क्षेत्र का इनका कार्य अत्यंत सराहनीय था, प्रभारी प्राचार्य के रूप में महाविद्यालय की स्वर्णजयंती कार्यक्रम महाविद्यालय की ऐतिहासिक उपलब्धि रही है। प्रो आरजी वर्मा ने कहा कि श्री पालीवाल ने निडर होकर कार्य किया, उनकी लम्बी सेवा अवधि बेदाग रही। प्रो प्रमोद मिश्रा रसायन शास्त्र ने कहा इनकी विदाई ऐतिहासिक है, ये स्वस्थ्य रहें एवं हमारे साथ बने रहें। डॉ ज्योति शर्मा ने कहा कि श्री पालीवाल बहुमुखी व्यक्तित्व के धनी थे वहीं डॉ हेमंत वर्मा ने कहा कि कॉओपरेटिव स्टोर चलाकर इन्होने छात्रों को कम मूल्य पर पुस्तके उपलब्ध करवाने का लोकप्रिय कदम उठाया था। डॉ राकेश तिवारी ने कहा कि शिक्षक समाज में सेवानिवृत्ती के बाद भी बना रहता है। डॉ यशपाल मालवीय ने इनके समय में कॉलेज के इन्फास्ट्रेक्चर के लिए सराहनीय कार्य की प्रशंसा की। डॉ एसबी हसन ने कहा ये किसी भी छात्र का नकल प्रकरण बना देते थे। इन्होने अपनी शक्ति से ज्यादा कार्य किया। प्रो अशोक दबाड़े ने कहा कि इनकी निडरता का कोई जवाब नहीं है। डॉ धमेन्द्र ने कहा कि मेरा पहला परिचय इनसे हुआ ये मेरे मार्ग दर्शक है। डॉ रमाकांत जोशी ने कहा कि जयवंत हाक्सर की कांस्य प्रतिमा की स्थापना विवेकानंद गार्डन, लॉ कॉलेज की स्थापना श्री पालीवाल की विशेष उपलब्धि है इसके लिए इन्हे हमेशा याद किया जाएगा। इसके अलावा डॉ महेश मेहता ने कहा कि इन्होने वाणिज्य विभाग को अपने कार्यकाल में अधिकतम ऊचांइयों तक पहुचाया। प्रो अशोक कदवाने, डॉ अलका पांडे, चमनलाल खरे, आदि ने भी संबोधित किया। डॉ सुखदेव डोंगरे,प्रो महादेव वागदे्र, प्रो ओपी खत्री, डॉ बीडी नागले, डॉ आभा वर्मा, डॉ अर्चना मेहता, डॉ प्रणय तिवारी, प्रो राजेश शेषकर, डॉ जीपी साहू, मनोज घोरसे, अमित ठाकुर, खुमान सिंह, सीएल खरे, शैलेन्द्र वाईकर, गिरधारी लाल मालवीय, अनन्त श्रीवास्तव कार्यक्रम का संयोजन प्रो महादेव वागदे्र, ओमप्रकाश खत्री, राजेश शेषकर ने , संचालन डॉ यशपाल मालवीय ने एवं आभार प्रो अशोक दबाड़े ने व्यक्त किया।